आप सभी प्रशिक्षु मित्रों को सूचित कर देना चाहता हूँ कि संस्कृतप्रशिक्षणकक्ष्या का दसवाँ संस्करण
संस्कृतप्रशिक्षणकक्ष्या - दशमो अभ्यास: । प्रस्तुत कर दिया गया है ।
इस पाठ्यक्रम में सप्तमी विभक्ति का पाठन किया गया जो कि विभक्ति की दृष्टि से अंतिम विभक्ति होती है अत: संस्कृतप्रशिक्षणकक्ष्या का पहला सत्र समाप्त हो चुका है । इस सत्र में हमने संस्कृत भाषा का एक विहंगम पठन और अभ्यास किया ।
पाठ्यक्रम की सरलता को बनाये रखने के लिये अबतक इसमें हमने कोई भी विभिन्न्ता नहीं रखी थी ।
किन्तु अब हम प्रारम्भिक ज्ञान प्राप्त कर चुके हैं, अत: अब हम थोडा सा पाठ्यक्रम का स्तर और बढाएंगे ।
इसमें आपको सभी लिंगों, सभी वचनों, तथा सभी कारक व विभक्तियों का सम्यक पाठन कराया जाएगा ।
ये हमारा दूसरा सत्र होगा और इसका नाम संस्कृतलेखनप्रशिक्षण कक्ष्या होगी ।
ये अबतक की कक्ष्या से विशिष्ट पाठ्यक्रम वाला होगा ।
इसमें प्राय: हम अपने लेखन का विकास और शुद्धि करेंगे ।
अगर इस पाठ्यक्रम को ध्यान से पढा गया तो हमारी लेखन सम्बन्धी बहुत सी समस्याएँ निराकरित हो जाएँगी ।
इस पाठ्यक्रम के सम्यक रूप से समाप्त हो जाने पर व्याकरण कक्ष्या प्रारम्भ होगी ।
अत: आप लोगों से विनम्र निवेदन है कि संस्कृत भाषा में पूर्णता प्राप्त करने हेतु कृपया सभी पाठ्यक्रमों को पूरे मनोयोग से पढें और निरन्तर अभ्यास करें ।
इस लेख को अपने दोस्तों के पास भी ईमेल से प्रेर्षित करें जिससे इस कक्ष्या का ज्यादा से ज्यादा लोग लाभ ले सकें ।।
धन्यवाद
भवदीय:- आनन्द:
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